कोलकाता, 02 नवंबर (Udaipur Kiran) .
West Bengal में मतदाता सूची सुधार को लेकर बड़ा कदम उठाते हुए चुनाव आयोग ने साफ कर दिया है कि चार नवंबर से शुरू होने वाले स्पेशल इंटेंसिव रिव्यू (एसआईआर) के दौरान जिन लोगों के फ़ॉर्म समय पर जमा नहीं होंगे, उनके नाम अलग सूची में डाल दिए जाएंगे.
आयोग के एक अधिकारी ने बताया कि ड्राफ्ट मतदाता सूची नौ दिसंबर को आएगी. लेकिन उससे पहले ही यह स्पष्ट कर दिया जाएगा कि किन लोगों के फ़ॉर्म नहीं पहुंचे और उन्हें मृत, फर्जी या कहीं और शिफ्ट हुए मतदाताओं की कैटेगरी में रखा जाएगा. इससे यह सुनिश्चित होगा कि असली मतदाताओं को अपने नाम हटने का कोई झटका न लगे.
चुनाव आयोग का यह फैसला ऐसे समय में आया है जब राज्य में इसे लेकर काफी राजनीतिक गर्मी बढ़ चुकी है. तृणमूल कांग्रेस ने चेतावनी दी है कि यदि किसी भी असली मतदाता का नाम लिस्ट से गायब हुआ, तो सड़क पर उतरकर विरोध किया जाएगा.
अभियान को तीन चरणों में पूरा किया जा रहा है. पहले चरण में चार नवंबर से बूथ लेवल ऑफिसर (बीएलओ) घर-घर जाकर फ़ॉर्म बांटेंगे और भरवाए गए फ़ॉर्म वापस लेंगे. इसके बाद ड्राफ्ट सूची जारी होगी.
इसके बाद आएगा दूसरा चरण, जहां मतदाता और राजनीतिक दल आपत्तियां दर्ज करा सकेंगे—किसी नाम की गलत स्पेलिंग हो या पता बदल गया हो. आयोग इन आपत्तियों की पड़ताल करेगा.
अंतिम चरण में निर्वाचन पंजीकरण अधिकारी सभी शिकायतों पर अंतिम फैसला लेंगे और फिर अंतिम मतदाता सूची प्रकाशित होगी. पूरी प्रक्रिया मार्च 2026 तक पूरी हो जाएगी.
गौरतलब है कि बंगाल में इस तरह का आखिरी एसआईआर सन् 2002 में हुआ था.
(Udaipur Kiran) / ओम पराशर
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