बदलते मौसम में खांसी होना आम बात है, लेकिन अक्सर माता-पिता बिना डॉक्टर की सलाह के सीधे मेडिकल स्टोर से कफ सिरप खरीदकर अपने बच्चों को दे देते हैं। यह लापरवाही बच्चों के स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है। इसलिए, आइए जानते हैं कि बच्चों को कफ सिरप देते समय क्या सावधानियां बरतनी चाहिए।प्रश्न 1: यदि कोई अभिभावक अपने बच्चे के लिए कफ सिरप खरीदने जा रहा है, तो उन्हें किन बातों पर ध्यान देना चाहिए?हर खांसी के लिए एक जैसा कफ सिरप नहीं होता। खांसी कई तरह की होती है, सूखी, गीली, एलर्जिक, वायरल या बैक्टीरियल। हर किसी के लिए अलग-अलग दवाइयाँ होती हैं। इसलिए, नाम या ब्रांड के आधार पर कोई भी सिरप खरीदना गलत है। केवल एक डॉक्टर ही यह तय कर सकता है कि बच्चे को किस प्रकार की खांसी है और कौन सा सिरप उसकी जाँच के बाद उपयुक्त है। सिरप का चुनाव बच्चे की उम्र, वज़न और बीमारी की गंभीरता के आधार पर किया जाना चाहिए।प्रश्न 2: आपको किस प्रकार की कफ सिरप से बचना चाहिए और आपको क्या सावधानियां बरतनी चाहिए?डॉक्टरों का कहना है कि छोटे बच्चों के लिए विशेष सावधानी बरतने की ज़रूरत है। छह साल से कम उम्र के बच्चों को कफ सिरप देने से पहले डॉक्टर से सलाह ज़रूर लें। बाज़ार में मिलने वाले कफ सिरप में अक्सर ऐसे तत्व होते हैं जो बच्चों के लिए हानिकारक होते हैं, जैसे कि शामक या अल्कोहल-आधारित तत्व। किसी भी कारण से, अगर आपको सिरप इस्तेमाल करना ही है, तो आपको यह सुनिश्चित करना चाहिए कि वह बच्चों के लिए बना हो, उसकी खुराक स्पष्ट हो और उसमें हानिकारक रसायन न हों। हालाँकि, डॉक्टर की सलाह के बिना कोई भी सिरप न दें।प्रश्न 3: यदि कोई व्यक्ति मेडिकल स्टोर से सीधे कफ सिरप खरीदता है, तो उसे क्या पता होना चाहिए?डॉक्टर की सलाह के बिना सिरप खरीदने से बचें। हालाँकि, अगर आपको इसे मेडिकल स्टोर से खरीदना ही है, तो सिरप की समाप्ति तिथि, पैकेजिंग, संरचना और खुराक की जानकारी ज़रूर पढ़ें। कभी-कभी, एक ही नाम के सिरप अलग-अलग रूपों में आते हैं। उदाहरण के लिए, बच्चों के लिए एक और वयस्कों के लिए एक। ऐसी गलती से ओवरडोज़ हो सकता है, जो बच्चे के लिए हानिकारक हो सकता है।प्रश्न 4: कफ सिरप देते समय क्या सावधानियां बरतनी चाहिए?1. सिरप देने से पहले बाल रोग विशेषज्ञ से परामर्श करना जरूरी है।2. हमेशा खुराक नापकर लें। बहुत कम खुराक देना बहुत हानिकारक हो सकता है।3. दवा देने से पहले सिरप को हिलाना न भूलें, क्योंकि कभी-कभी दवा जम जाती है।4. यदि बच्चा पहले से ही कोई अन्य दवा ले रहा है, तो सुनिश्चित करें कि सिरप उसके साथ प्रतिक्रिया न करे।5. यदि आपको सिरप लेने के बाद उल्टी, चक्कर आना, अत्यधिक नींद आना, सांस लेने में कठिनाई जैसी कोई शिकायत महसूस हो तो तुरंत डॉक्टर से परामर्श लें।प्रश्न 5: माता-पिता अक्सर इसका ज़रूरत से ज़्यादा इस्तेमाल करते हैं। बच्चों पर इसका क्या असर होता है और इससे कैसे बचा जा सकता है?अगर बच्चे की उम्र और वज़न के हिसाब से खुराक सही नहीं है, तो इससे साँस लेने में तकलीफ़, अत्यधिक उनींदापन या बेहोशी, निमोनिया या ऑक्सीजन की ज़रूरत पड़ सकती है। और दुर्भाग्य से, कुछ मामलों में, यह जानलेवा भी हो सकता है। इसलिए कभी भी अनुमान के आधार पर सिरप न दें। डॉक्टर के निर्देशानुसार दवा दें। अगर सिरप के साथ मापने वाला ढक्कन या चम्मच आता है, तो उसका इस्तेमाल करें।बदलते मौसम के कारण वायरल निमोनिया, एलर्जिक ब्रोंकाइटिस और खांसी-ज़ुकाम के मामले बढ़ रहे हैं। इसलिए, अगर आपके बच्चे को लगातार खांसी, बुखार या सांस लेने में तकलीफ हो रही है, तो तुरंत डॉक्टर से सलाह लें। घरेलू नुस्खों या ऑनलाइन सलाह के आधार पर दवा देना सही तरीका नहीं है।
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