इंदौर: मध्य प्रदेश के इंदौर जिले में कलेक्टर ने बिना हेलमेट के पेट्रोल देने पर रोक लगाने का आदेश जारी किया है। इसके उल्लंघन पर शुक्रवार को प्रशासन ने सख्त कदम उठाया। बिना हेलमेट पेट्रोल देने पर एक पेट्रोल पंप को सील कर दिया गया है।
दरअसल, इंदौर जिले के अरंडिया बाईपास स्थित एक पेट्रोल पंप पर बिना हेलमेट वाले दोपहिया वाहनों को पेट्रोल दिया जा रहा था। पुलिस ने बताया कि पेट्रोल पंप परिसर में कहीं 'हेलमेट के बिना पेट्रोल नहीं' देने वाला कोई सूचना पट्ट भी नहीं लगाया गया था। इसे कलेक्टर के आदेश का उल्लंघन मानते हुए पेट्रोल पंप को तत्काल प्रभाव से सील कर दिया गया है। पुलिस का कहना है कि कलेक्टर के आदेश को प्रभावी ढंग से पालन कराने के लिए जिले भर में एसडीएम के नेतृत्व में एक टीम गठित की गई है। जो पेट्रोल पंपों का लगातार दौरा कर रही हैं।
मंगलवार की बैठक के बाद लिया गया था फैसला
बता दें कि सुप्रीम कोर्ट की सड़क सुरक्षा समिति के अध्यक्ष और पूर्व न्यायाधीश अभय मनोहर सप्रे ने मंगलवार को एक बैठक में प्रशासन को निर्देश दिए थे, कि वाहन सवारों द्वारा हेलमेट और सीट बेल्ट लगाए जाने के नियम का पालन सुनिश्चित कराने के लिए शहर में सघन अभियान चलाया जाए।
दोषी पाए जाने पर कितना है जुर्माना
इन निर्देशों के अगले दिन बुधवार को प्रशासन ने भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता 2023 की धारा 163 के तहत 'हेलमेट नहीं, तो पेट्रोल नहीं’ का प्रतिबंधात्मक आदेश जारी किया। इस कानूनी प्रावधान के तहत दोषी को एक वर्ष तक के कारावास या 5,000 रुपये तक के जुर्माने या दोनों सजाओं से दंडित किया जा सकता है।
दरअसल, इंदौर जिले के अरंडिया बाईपास स्थित एक पेट्रोल पंप पर बिना हेलमेट वाले दोपहिया वाहनों को पेट्रोल दिया जा रहा था। पुलिस ने बताया कि पेट्रोल पंप परिसर में कहीं 'हेलमेट के बिना पेट्रोल नहीं' देने वाला कोई सूचना पट्ट भी नहीं लगाया गया था। इसे कलेक्टर के आदेश का उल्लंघन मानते हुए पेट्रोल पंप को तत्काल प्रभाव से सील कर दिया गया है। पुलिस का कहना है कि कलेक्टर के आदेश को प्रभावी ढंग से पालन कराने के लिए जिले भर में एसडीएम के नेतृत्व में एक टीम गठित की गई है। जो पेट्रोल पंपों का लगातार दौरा कर रही हैं।
मंगलवार की बैठक के बाद लिया गया था फैसला
बता दें कि सुप्रीम कोर्ट की सड़क सुरक्षा समिति के अध्यक्ष और पूर्व न्यायाधीश अभय मनोहर सप्रे ने मंगलवार को एक बैठक में प्रशासन को निर्देश दिए थे, कि वाहन सवारों द्वारा हेलमेट और सीट बेल्ट लगाए जाने के नियम का पालन सुनिश्चित कराने के लिए शहर में सघन अभियान चलाया जाए।
दोषी पाए जाने पर कितना है जुर्माना
इन निर्देशों के अगले दिन बुधवार को प्रशासन ने भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता 2023 की धारा 163 के तहत 'हेलमेट नहीं, तो पेट्रोल नहीं’ का प्रतिबंधात्मक आदेश जारी किया। इस कानूनी प्रावधान के तहत दोषी को एक वर्ष तक के कारावास या 5,000 रुपये तक के जुर्माने या दोनों सजाओं से दंडित किया जा सकता है।
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