आमतौर पर एक सीप से 1 से 2 मोती प्राप्त होते हैं। बाजार में एक अच्छी क्वालिटी के मोती की कीमत 300 से 1,000 रुपये तक हो सकती है। अगर आपको 1,000 सीपों से मोती मिलते हैं तो आपकी सालाना आय 3 से 10 लाख रुपये तक हो सकती है।अगर आप कम लागत में कोई व्यवसाय शुरू करके मोटा मुनाफा कमाने का सपना देख रहे हैं तो मोती की खेती आपके लिए एक बेहतरीन विकल्प साबित हो सकती है। यह खेती अब समुद्र तक ही सीमित नहीं है, बल्कि इसे वैज्ञानिक तरीकों से तालाबों में भी किया जा सकता है। यह व्यवसाय महज कुछ हजार रुपये की लागत से शुरू किया जा सकता है और इससे साल में लाखों की कमाई संभव है।
मोती की खेती को वैज्ञानिक भाषा में 'पर्ल कल्चर' कहा जाता है। इसमें तालाब में सीपों को पाल कर कृत्रिम तरीके से मोती विकसित किए जाते हैं। इसके लिए खास तरह की मीठे पानी की सीपों का इस्तेमाल किया जाता है, जिन्हें कुछ खास प्रक्रियाओं के तहत तैयार किया जाता है और मोती बनने की प्रक्रिया शुरू की जाती है।मोती की खेती शुरू करने के लिए बहुत ज़्यादा ज़मीन या संसाधनों की ज़रूरत नहीं होती है। लगभग 1,000 सीपों को पालने की क्षमता वाले एक छोटे से तालाब की कीमत लगभग 50,000 से 60,000 रुपये होती है। इन सीपों को प्रोसेस करने और उनकी निगरानी करने के लिए कुछ प्रशिक्षण की ज़रूरत होती है, जो कई सरकारी संस्थाएँ मुफ़्त या कम कीमत पर मुहैया करा रही हैं।
भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद (ICAR), केंद्रीय अंतर्देशीय जल मत्स्य अनुसंधान संस्थान (CIFA) और कुछ राज्य स्तरीय मत्स्य विभाग इस विषय पर विशेष प्रशिक्षण कार्यशालाएँ चलाते हैं। इच्छुक लोग इन संस्थाओं से संपर्क कर प्रशिक्षण प्राप्त कर सकते हैं।सरकार इस व्यवसाय को बढ़ावा देने के लिए सब्सिडी और ऋण की सुविधा भी देती है। प्रधानमंत्री मुद्रा योजना जैसे कार्यक्रमों के तहत लोग बिना गारंटी के ऋण लेकर इस व्यवसाय को शुरू कर सकते हैं।मोती की खेती उन युवाओं और किसानों के लिए सुनहरा अवसर है जो कम निवेश में बड़ा मुनाफ़ा कमाना चाहते हैं। थोड़ी सी ट्रेनिंग और लगन से आप भी इस व्यवसाय से आत्मनिर्भर बन सकते हैं।
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